Bank Accounts: एक व्यक्ति के पास कितने बैंक अकाउंट होने चाहिए, सही संख्या जानने के लिए पढ़ें ये खबर
आज एक आदमी कितने बैंक अकाउंट रख सकता है? के जमाने में एक आदमी के पास कई-कई बैंक खाते होते हैं. आमतौर पर एक से ज्यादा बैंक अकाउंट होने के कई फायदे हैं. अलग-अलग खर्च या किश्त चुकाने के लिए अलग-अलग खाते रखना आसाना है. अलग-अलग अकाउंट होने से ट्राजेक्शन को ट्रैक करना आसान है.
By: एबीपी न्यूज | Updated at : 24 Jun 2021 11:17 AM (IST)
आज के जमाने में ज्यादातर लोगों के पास कई-कई बैंक खाते होते हैं. लोगों को कई तरह के काम करने के लिए अलग-अलग बैंक खातों की जरूरत पड़ती है. पर एक आदमी के कितने बैंक अकाउंट होने चाहिए, इसके लिए व्यक्ति की आवश्यकता को आधार बनाया जाता है. आमतौर पर एक से ज्यादा बैंक अकाउंट होने के कई फायदे हैं. हालांकि इसके कुछ नुकसान भी है. आइए जानते हैं multiple bank accounts के क्या-क्या फायदे हैं-
सेविंग गोल का ट्रैकिंग – अलग-अलग खर्च या किश्त चुकाने के लिए अलग-अलग खाते रखना आसाना है. मसलन अगर कार खरीदनी है तो इसके लिए एक अलग से अकाउंट होना चाहिए जिसमें से हर महीने कार की किश्त जाती रहे. दूसरी ओर पैसे निकालने के लिए अलग से खाता होना चाहिए.
ट्रांजकेश्न को ट्रैक करना आसान- अलग-अलग अकाउंट होने से ट्राजेक्शन को ट्रैक करना आसान है. हर व्यक्ति को अलग-अलग मद में ट्राजेक्शन की जरूरत होती है. ऐसे में अलग-अलग मद में खर्च के लिए अलग-अलग अकाउंट हो तो इसे ट्रैक करना आसान हो जाता है.
एटीएम चार्ज से बचाव- कई बैंक खाते होने से कई एटीएम भी मिल जाते हैं. हर बैंक के एटीएम चार्ज अलग-अलग होते हैं. ऐसे में एक ही एटीएम से हमेशा पैसा निकालने से ज्यादा चार्ज लग सकता है. कई एटीएम होने से इस चार्ज को शून्य किया जा सकता है.
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एक बैंक पर निर्भरता कम- लोगों को बैंक में हर तरह की एक आदमी कितने बैंक अकाउंट रख सकता है? जरूरत होती है. लेकिन हर बैंक में उसकी जरूरत की पूर्ति नहीं हो पाती. कई बार किसी बैंक का ऑनलाइन कारोबार ठप हो जाता है. कई बार किसी बैंक का ब्याज दर ज्यादा हो जाता है. ऐसे में कई बैंक खाते होंगे तो एक बैंक पर निर्भरता कम होगी.
फ्रॉड होने से बचाव- हाल ही के दिनों में ऑनलाइन ट्रांजेक्शन में फ्रॉड के कई मामले सामने आ रहे हैं. इस स्थिति में अगर कई खाते होंगे तो ऑनलाइन फ्रॉड से बचा जा सकता है या घाटे को कम किया जा सकता है.
कुछ नुकसान भी
कई बैंक खाते होने से चार्जेंज कुछ ज्यादा लग जाते हैं. इसके अलावा हर बैंक का मीनिमम बैलेंस होता है. इस रकम से कम होने पर पैनल्टी लग जाती है. ज्यादा खाता होने पर लोग अक्सर मिनिमम बैलेंस भूल जाते हैं. इस स्थिति मे चार्ज लग जाता है. दूसरी ओर कई खाते होने से अक्सर लोग पासवर्ड को भी भूल जाते हैं. इन सब खामियों की तुलना में मल्टीपल अकाउंट के फायदे ज्यादा हैं.
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Published at : 24 Jun 2021 11:17 AM (IST) Tags: Savings ATM people bank accounts UPI multiple accounts हिंदी समाचार, ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें abp News पर। सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट एबीपी न्यूज़ पर पढ़ें बॉलीवुड, खेल जगत, कोरोना Vaccine से जुड़ी ख़बरें। For more related stories, follow: News in Hindi
अधिकतम कितने बैंक अकाउंट खोल सकते हैं आप, इसके लिए क्या है RBI का नियम? जानिए
रिज़र्व बैंक ने बैंक खातों की संख्या पर कोई भी लिमिट तय नहीं की है.
ज्यादातर लोगों के पास 3 से 4 सेविंग्स अकाउंट होते हैं, वहीं कुछ लोग इससे ज्यादा बैंकों में अकाउंट रखते हैं. भारत में बै . अधिक पढ़ें
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- Last Updated : October 07, 2022, 11:47 IST
हाइलाइट्स
रिज़र्व बैंक ने बैंक खातों की संख्या पर कोई भी लिमिट तय नहीं की है.
आप कई बैंकों में अपने अकाउंट रखते हैं तो इसके लिए आपको सब में लेनदेन चालू रखना पड़ेगा.
सभी बैंकों में सैलेरी अकाउंट को छोड़कर सेविंग अकाउंट में मिनिमम बैलेंस मेंटेन करना पड़ता है.
नई दिल्ली. बैंकों में लेन-देन करते समय या किसी बैंक में खाता खुलवाते समय आपके दिमाग में यह सवाल तो जरूर आया होगा कि हम अधिकतम कितने बैंक अकाउंट खोल सकते हैं? इस आर्टिकल में हम यही जानेंगे कि क्या देश में बैंक अकाउंट खोलने की कोई लिमिट है? या भारत में आप अधिकतम कितने बैंक अकाउंट खुलवा सकते हैं?
ज्यादातर लोगों के पास 3 से 4 सेविंग्स अकाउंट होते हैं, वहीं कुछ लोग इससे ज्यादा बैंकों में अकाउंट रखते हैं. भारत में बैंक अकाउंट खुलवाने की कोई लिमिट नहीं है. रिज़र्व बैंक ऑफ इंडिया भारत का केंद्रीय बैंक है और यही बाकी सभी बैंकों के लिए नियमों का निर्धारण करता है. रिज़र्व बैंक ने बैंक खातों की संख्या पर कोई भी लिमिट तय नहीं की है. आप जितने चाहें बैंक अकाउंट खुलवा सकते हैं.
मल्टीपल अकाउंट ऐसे करें मैनेज
यदि आप कई बैंकों में अपने अकाउंट खुलवाना चाहते हैं तो इसे आसानी से मैनेज कर सकते हैं. इसके लिए आपको अपने अकाउंट्स से लेन-देन चालू रखना पड़ेगा. लंबे समय तक एक्टिव नहीं रहने पर बैंक आपका अकाउंट क्लोज कर सकता है. इसलिए आपको अपने सभी अकाउंट्स को यूज करते रहना पड़ेगा. हालांकि, बहुत सारे बैंक अकाउंट खोलते समय आपको कई बातों को ध्यान में रखने की जरूरत पड़ती है.
मिनिमम बैलेंस मेंटेन करना होगा
वर्तमान में लगभग सभी बैंकों में सैलेरी अकाउंट को छोड़कर सेविंग अकाउंट में मिनिमम बैलेंस को मेंटेन करना अनिवार्य कर दिया गया है. इसका मतलब यह है कि आपको अपने बैंक खाते में एक मिनिमम बैलेंस हमेशा रखना पड़ेगा. अगर आप ऐसा नहीं करते हैं तो आपके बैंक खाते से चार्ज काटा जाएगा. अगर चार्ज कटने के बाद भी आप मिनिमम अकाउंट को मेन्टेन नहीं करते तो आपका बैंक अकाउंट नेगेटिव में चला जाता है. ऐसे में आपको मिनिमम बैलेंस को लेकर सावधान रहने की जरूरत पड़ेगी. इस तरह से आप बैंक अकाउंट मैनेज कर सकते हैं.
बैंक को मिलता है ज्यादा अकाउंट से फायदा
बैंकों को ज्यादा अकाउंट्स से काफ़ी फायदा मिलता है. हर बैंक मैसेज भेजने के लिए हर महीने एक अमाउंट चार्ज करता है. आपको बैंक अकाउंट मेंटेन करने की भी एक कॉस्ट देनी होती है. वहीं बैंक के डेबिट कार्ड के लिए भी एक सालाना फीस देनी पड़ती है. ऐसे में आपको जितने बैंक अकाउंट की जरूरत है उतने ही खुलवाने चाहिए.
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एक आदमी कितने बैंक अकाउंट रख सकते हैं?
एक आदमी कितने बैंक अकाउंट रख सकता है (Ek Aadmi Kitne Bank Account Rakh Sakta Hai) इसके बारें में बात किया जाए तो, कोई भी व्यक्ति जितना चाहें उतना बैंक अकाउंट रख सकता है, क्योंकि देश के सर्वोच्च बैंक रिज़र्व बैंक ऑफ इंडिया ने इसको लेकर ऐसा कोई नियम नही बनाया है, जिसमें बताया गया हो कि एक आदमी कितने बैंक अकाउंट रख सकता है , परंतू यहाँ पर याद रखने योग्य बातें है ये है कि कोई भी व्यक्ति जितना चाहें उतना बैंक अकाउंट खुलवा तो सकता है, लेकिन एक वित्तीय वर्ष में सभी अकाउंट को मिलाकर 10 लाख से अधिक जमा निकासी करने के स्थिति में व्यक्ति इंनकम टैक्स के दायरें में होगा एवं जमा निकासी के आधार पर इंनकम टैक्स भरना परेगा ।
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एक आदमी कितने बैंक अकाउंट रख सकते हैं? |
1. एक आदमी अपने नाम पर कितने अकाउंट खुलवा सकता है?
एक आदमी जितना चाहें उतना बैंक अकाउंट खुलवा सकता है ।
2. एक मोबाइल नंबर से कितने बैंक अकाउंट जोड़ सकते हैं?
एक मोबाइल नंबर से जितना चाहें उतना बैंक अकाउंट जोड़ सकते हैं ।
3. क्या एक बैंक में दो अकाउंट हो सकते हैं?
जी हाँ, एक बैंक में दो अकाउंट हो सकते है, लेकिन अकाउंट के प्रकार अलग-अगल होगें ।
4. बैंक में कितना पैसा रख सकते है?
बैंक में जितना चाहें उतना पैसा रख सकते है, बशर्ते जन-धन सेविंग को छोड़कर, क्योंकि इसमें लिमिटेशन है ।
5. बैंक में कितने पैसे जमा करने पर टैक्स लगता है?
बैंक में सालाना 10 लाख से अधिक लेन-देन पर टैक्स लगता है ।
6. बैंक खाता कब बंद हो जाता है?
छ: महीने तक लेन-देन ना करने के स्थिति में बैंक खाता बंद हो जाते है, हालांकि आवेदन के जरिए पुन: चालु कराया जा सकता है । इस मामले में कुछ बैंकों का अलग-अगल नियम हो सकते हैं ।
कितने सेविंग अकाउंट रख सकते हैं कि Income Tax का नोटिस न आए? डिटेल में जानें सभी नियम
यहां जरूरी नहीं कि सेविंग खाते में एक साल में एकमुश्त 10 लाख ही जमा किए जाएं या निकालें जाएं. अगर कुछ-कुछ लाख रुपये भी करके 10 लाख तक जमा किए जाते हैं या बारी-बारी से कुल 10 लाख निकालें जाते हैं एक आदमी कितने बैंक अकाउंट रख सकता है? तो नोटिस की संभावना ज्यादा बढ़ जाती है.
यह आम सवाल है जिसे अधिकांश लोग उठाते हैं. लोग जानना चाहते हैं कि वे कितने सेविंग अकाउंट एक साथ चला सकते हैं जिससे कि इनकम टैक्स से कोई परेशानी न हो. दूसरा सवाल एक आदमी कितने बैंक अकाउंट रख सकता है? है कि सेविंग खाते में अधिकतम कितना बैलेंस रख सकते हैं कि इनकम टैक्स का नोटिस न मिले. सेविंग बैंक अकाउंट को लेकर इस तरह के कई भ्रम टैक्सपेयर के दिमाग में होते हैं जिन्हें समय रहते दूर करना जरूरी होता है.
इसका जवाब बहुत ही आसान है. इनकम टैक्स में ऐसा कोई नियम नहीं है जो बताता हो कि आप अधिकतम कितने सेविंग अकाउंट रख सकते हैं कि नोटिस न आए. यानी कि इनकम टैक्स का सेविंग खाते से कोई लेना देना नहीं है. आप जितनी मर्जी उतना खाता रख सकते हैं, चला सकते हैं. खाते में अधिकतम कितनी राशि रखनी है, उसकी भी कोई लिमिट नहीं जो इनकम टैक्स से जुड़ी हो. आप जितना चाहें, उतना पैसा रख सकते हैं. इनकम टैक्स का असली नियम ट्रांजेक्शन पर लागू होता है. अर्थात आप सेविंग खाते से कितने रुपये और कहां खर्च करते हैं. कैश में करते हैं या क्रेडिट-डेबिट कार्ड से करते हैं, इन बातों पर ध्यान दिया जाता है.
कैश ट्रांजेक्शन पर ध्यान दें
इनकम टैक्स के नोटिस से बचना है तो आपको कैश ट्रांजेक्शन पर ध्यान रखना होगा. इस पर अगर ध्यान देते हैं तो इनकम टैक्स की कार्रवाई से बच सकेंगे. एक साल में आपको ध्यान रखना है कि 10 लाख से ज्यादा ट्रांजेक्शन नहीं करना है. न तो 10 लाख से ज्यादा निकाल सकते हैं और न ही उस सेविंग खाते में 10 लाख से ज्यादा जमा कर सकते हैं. इस नियम को तोड़ते हैं तो आप इनकम टैक्स के नोटिस के दायरे में आ सकते हैं.
यहां जरूरी नहीं कि सेविंग खाते में एक साल में एकमुश्त 10 लाख ही जमा किए जाएं या निकालें जाएं. अगर कुछ-कुछ लाख रुपये भी करके 10 लाख तक जमा किए जाते हैं या बारी-बारी से कुल 10 लाख निकालें जाते हैं तो नोटिस की संभावना ज्यादा बढ़ जाती है. 10 लाख कि लिमिट पार करते हैं तो इनकम टैक्स की कार्रवाई संभव है, इससे कोई नहीं बचा सकता. यह सेविंग बैंक अकाउंट के लिए नियम है. सबसे जरूरी नियम है कि सिंगल ट्रांजेक्शन 2 लाख से ज्यादा का न हो और साल में कुल ट्रांजेक्शन 10 लाख से ऊपर नहीं जाना चाहिए. अगर इस नियम को तोड़ते हैं तो इनकम टैक्स की कार्रवाई होगी.
कितने पैसे निकालें और जमा करें
अब सवाल है कि साल में 10 लाख से ज्यादा या एक बार में 2 लाख से ज्यादा का ट्रांजेक्शन करते हैं तो इसकी जानकारी इनकम टैक्स को कैसे लगती है? अगर आपका पैन बैंक अकाउंट से जुड़ा हो और अपने सेविंग खाते से 10 लाख से ज्यादा निकालते या जमा करते हैं तो इनकम टैक्स विभाग को पैन के जरिये इसकी जानकारी मिल जाएगी.
अगर पैन न जुड़ा हो तो जिस बैंक में आप 10 लाख से ज्यादा जमा या निकालेंगे, वह बैंक इनकम टैक्स विभाग को जानकारी देता है. कोऑपरेटिव बैंक और पोस्ट मास्टर जनरल को भी टैक्स विभाग को जानकारी देने के लिए नियुक्त किया गया है. पैसे कोऑपरेटिव बैंक या पोस्ट ऑफिस के जरिये जमा या निकाले जा सकते हैं. इसलिए कोऑपरेटिव बैंक और पोस्ट मास्टर जनरल को भी सूचना देने का अधिकार प्राप्त है.
करंट अकाउंट का नियम
एक वित्तीय वर्ष में कोई व्यक्ति अगर बैंक ड्राफ्ट खरीदने या पे ऑर्डर लेने के लिए कैश में 10 लाख से ज्यादा खर्च करता है तो उसे नोटिस मिल सकता है. रिजर्व बैंक ने जिस प्रोडक्ट को प्रीपेड इंस्ट्रूमेंट का दर्जा दिया है, उसे खरीदने के लिए एक वित्तीय वर्ष में 10 लाख से अधिक खर्च करने पर भी कार्रवाई हो सकती है. कुछ ऐसा ही नियम करंट अकाउंट के लिए भी है लेकिन उसमें ट्रांजेक्शन की लिमिट 50 लाख रखी गई है. करंट अकाउंट पर एक साल में 50 लाख से ज्यादा जमा नहीं कर सकते, या 50 लाख से ज्यादा निकाल नहीं सकते. यह काम चेक से भी नहीं किया जा सकता.
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