घुमावदार : - यदि किसी जातक के हथेली में एक घुमावदार मस्तिष्क रेखा होता है, तो वो सहिष्णु व यथार्थवादी होता है। झूठ फरेब से ये दूर रहते हैं।

हस्त रेखा विज्ञान में मस्तिष्क रेखा
(Merits and Demerits of a person from the head line in Palmistry)

मस्तिष्क रेखा की पहचान – एक रेखा जो अंगूठे और तर्जनी अँगुली के मध्य से प्रारंभ होती है और जीवन रेखा से मिलती और हथेली के मध्य भाग से होती हुई, प्रथम मंगल या चन्द्र क्षेत्र की तरफ जाती है उसे ‘मस्तिष्क रेखा’ कहा जाता है।

मस्तिष्क रेखा हथेली को दो भागों में विभाजित करती है जिसमें से नीचे वाला भाग व्यक्ति की भौतिक, व्यावहारिक व शारीरिक स्थिति का प्रतीक होता है और ऊपर वाला भाग बौद्धिक, नैतिक व आध्यात्मिक प्रवृत्ति का संकेतक होता है।

हस्त रेखा विज्ञान में मस्तिष्क रेखा का महत्त्व
(Importance of Head Line in Palmistry)

मस्तिष्क रेखा के बिना जीवन निष्क्रिय है - मष्तिष्क रेखा का सही अवस्था में न होने पर व्यक्ति का जीवन निष्क्रिय होता है चाहे सभी पर्वत और रेखायें प्रबल या अच्छे हों। इसका कारण यह होता है कि वह रेखाओं और प्रवृत्ति रेखाएं पर्वतों का सही दिशा में उपयोग नहीं कर सकेगा। इसके विपरीत यदि मस्तिष्क रेखा की स्थिति अच्छी हो और पर्वत और अन्य रेखाएँ कमजोर हों तो व्यक्ति रेखाओं और पर्वतों के गुणों का उपयोग स्थिति के अनुसार कर सकेगा। यही कारण है कि यह रेखा हस्त रेखा परिक्षण में बहुत महत्वपूर्ण है। और जीवन रेखा के बाद इसी रेखा को महत्त्व दिया जाता है।

यह रेखा व्यक्ति की मानसिक, नैतिक, बौद्धिक, भौतिक, आध्यात्मिक, व्यावहारिक और शारीरिक क्षमता व कल्पना, विवेक एवं तर्क योग्यता सम्बन्धी समस्त बातों की गुणवत्ता व मात्रा की सूचक होती है अर्थात् इस रेखा से इन सभी की गुणवत्ता व मात्रा का पता लगाया जा सकता है। यह रेखा ज्ञान व बुद्धि की परिचायिका है। सही अर्थ में यह कह सकते हैं कि मस्तिष्क प्रवृत्ति रेखाएं से सम्बंधित सभी कार्य एवं गतिविधियों का सम्बन्ध जो रेखा उजागर करती है वही ‘मस्तिष्क प्रवृत्ति रेखाएं रेखा’ है। अतः इस रेखा के महत्त्व को सही दृष्टि में समझकर फलादेश देना चाहिए या व्यक्ति के बारे में कुछ बताने से पहले इस रेखा का अच्छे से परीक्षण करना चाहिए।

हस्तरेखा शास्त्र में मस्तिक रेखा

हस्त रेखा शास्त्र में मस्तिष्क रेखा (headline) को ज्ञान रेखा के रूप में भी जाना जाता है। यह उन महत्वपूर्ण रेखाओं में से है जिन्हें हस्तरेखा विज्ञान में किसी के वर्तमान जीवन की घटनाओं का अनुमान लगाने और भविष्य की संभावनाओं का विश्लेषण करने के लिए देखा व विश्लेषित किया जाता है।

मस्तिष्क रेखा से व्यक्ति की मानसिक या बौद्धिक क्षमता का पता लागाया जाता है। हस्त ज्योतिष में यह मन की शक्ति और उसकी क्षमताओं को दर्शाता है।
हथेली में मस्तिष्क रेखा का स्थान
हस्त ज्योतिष के मुताबिक यह जीवन रेखा के ऊपर अंगूठे और तर्जनी के बीच क्षैतिज रूप से स्थित होता है।

मस्तिष्क रेखा के प्रकार

• लंबा
जिन लोगों की मस्तिष्क रेखा लंबी होती है, उनके विचार साफ होते हैं, वे प्रवृत्ति रेखाएं सोच के अच्छे होते हैं। दूसरों के प्रति विचारशील हैं। मस्तिष्क रेखा लंबी होने से प्रवृत्ति रेखाएं जातक अधिक पलके झपकने हैं जो शायद हर समय उनके लिए अच्छा काम न करें।
• मध्यम
यदि शीर्ष रेखा अनामिका से मध्यम लंबाई तक फैली हो तो ऐसे लोगों को स्मार्ट और शानदार माना जाता है। उनके पास हर कार्य को करने की अच्छी क्षमता है।
• कम
यदि मस्तिष्क रेखा (headline) केवल मध्य उंगली तक फैली हुई है, तो ऐसे लोग प्रतिक्रिया देने में धीमे होते हैं। वे लापरवाह और बहुत आवेगी भी माने जाते हैं। ऐसे जातक व्यक्तिगत और पेशेवर दोनों मोर्चे पर परेशानी से बचने के लिए अधिक जिम्मेदार और सक्रिय होने के लिए सावधान रहते हैं। ऐसा ही होना भी चाहिए।

मस्तिष्क रेखा के आकार

सीधा : - सीधे मस्तिष्क रेखा वाले लोग मानसिक रूप से बहुत मजबूत होने की संभावना रखते हैं और प्रवृत्ति रेखाएं महान विश्लेषणात्मक क्षमता रखते हैं। वे व्यावहारिक और बेहद समर्पित होते हैं। गणित, विज्ञान और प्रौद्योगिकी जैसे विषय इन जातकों को पसंद होते हैं।

प्रवृत्ति रेखाएं

उदाहरण : आनुष्ठानिक तथा सामाजिक सोपानबद्धता में ऊर्ध्वमुखी गतिशीलता को लक्षित एक और प्रवृत्ति संस्कृतीकरण कहलायी।

Usage : The building which they erected will constantly keep disturbing their hearts unless their hearts are torn to pieces; and Allah प्रवृत्ति रेखाएं is All Knowing, Wise.

उदाहरण : यह पूरी तरह से ऊर्ध्वहन्वस्थि तक ही सीमित है लेकिन प्रवृत्ति रेखाएं नाक में फैलाव नही हैं|
Usage : it is wholly confined to the maxilla but not extending on to the nasal.

Usage : The upward trend in costs, which started towards the end of 1944, had a snowball effect in the post - war years.

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दार्शनिक प्रवृत्ति के होते हैं शतभिषा नक्षत्र में जन्मे लोग, छोटी-छोटी बातों को लेकर हो जाते हैं अपसेट

By: ABP Ganga | Updated at : 23 Feb 2020 11:24 PM (IST)

पंडित शशिशेखर त्रिपाठी

शतभिषा का अर्थ है 100 चिकित्सक, 100 औषधियां या 100 उपचार-कर्ता जीवन में जो रोग, दुख, कष्ट या पीड़ा है उसको मिटाने के लिए दैवीय व्यवस्था में औषधि व उपकरण से सज्जित 100 चिकित्सकों के दल की रचना हुई है। इस नक्षत्र को शततारा भी कहते हैं। शततारा का अर्थ होता है 100 तारों वाला नक्षत्र।

विद्वानों ने शतभिषा को वृत्ताकार माना है। एक ऐसा व्रत जो भीतर से रिक्त या शून्य है। कुछ विद्वान इसे चमत्कारी कड़ा भी मानते हैं। जो चीज घेरे में हैं उसमें एक रहस्य होता है और गोपनीयता छुपी हुई होती है। शतभिषा नक्षत्र का देवता, जल, बादल व वर्षा का स्वामी वरुण हैं। शतभिषा नक्षत्र कुंभ राशि में पड़ता है, इसलिए कुंभ राशि वालों का यह नक्षत्र हो सकता प्रवृत्ति रेखाएं है। तो चलिए आपको बताते हैं कि शतभिषा नक्षत्र में जन्मे लोगों के अंदर कौन-कौन से गुण होते हैं।

Palmistry Tips: हाथ के ये निशान बताते हैं, व्यक्ति बन सकता है हत्यारा

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Palmistry Tips: इन दिनों अखबार में हत्या करने की बहुत सी खबरें आ रही हैं। इन सभी घटनाओं के पीछे पुलिस और मनोवैज्ञानिक अलग-अलग कारण बता रहे हैं। कुछ लोग यह भी कह रहे हैं कि यदि पहले ही किसी व्यक्ति के हत्यारा होने का पता लग जाए तो ऐसी घटनाओं को रोका जा सकता है। आपको यह जानकर ताज्जुब होगा, लेकिन ऐसा किया जा सकता है।

प्राचीन वैदिक ज्योतिष और हस्तरेखा शास्त्र में ऐसी कई टिप्स दी गई हैं। ज्योतिषीय मान्यताओं के अनुसार व्यक्ति जब पैदा होता है तो अपने साथ अपना भाग्य लाता है। उसके भाग्य का संकेत भी उसकी जन्मकुंडली और उसके हाथ की रेखाओं में दे दिया जाता है। यदि इन संकेतों को समय रहते पहचान लिया जाए तो हत्यारों को पहचाना जा सकता है। इस आर्टिकल में आप जानेंगे कि किस तरह किसी व्यक्ति का हाथ देखकर उसके हत्यारा होने की भविष्यवाणी की जा सकती है।

हाथ की ये रेखाएं बताती हैं व्यक्ति बन सकता है हत्यारा (Palmistry Tips in Hindi)

ज्योतिषी एम.एस. लालपुरिया के अनुसार हाथ की रेखाएं कभी झूठ नहीं बोलती हैं। किसी भी व्यक्ति के हाथ को देखकर न केवल उसका भूत, भविष्य और वर्तमान बल्कि उसका स्वभाव भी जान सकते हैं। इसके लिए हाथ में कुछ संकेतों को ध्यान से देखना होता है। ये इस प्रकार हैं

  • सबसे पहले किसी व्यक्ति का हाथ देखें। यदि दोनों हथेलियां और हाथों की अंगुलियां खुरदरी, कठोर हो तथा अंगूठा आगे से चपटा हो तो ऐसा व्यक्ति हत्यारा हो सकता है।
  • कभी-कभी किसी व्यक्ति के हाथ की मस्तिष्क रेखा उसकी ह्रदय रेखा से इस तरह मिल जाती है कि दोनों रेखाएं एक ही दिखने लगती हैं। ऐसा होने पर वह व्यक्ति क्रूर हत्यारा और मानसिक रूप से विक्षिप्त किस्म का अपराधी होता है। उसकी जैसे-जैसे उम्र बढ़ेगी, उसमें हत्या की प्रवृत्ति बढ़ती चली प्रवृत्ति रेखाएं जाएगी।
  • यदि किसी व्यक्ति की हथेली में मंगल, शनि एवं चन्द्र पर्वत पर क्रॉस, जाल या काले धब्बे हो तो ऐसा व्यक्ति आदतन अपराधी होता है। ऐसे लोग जरूरत पड़ने पर अपनों का भी भरोसा तोड़ने से नहीं डरते। इनसे दूरी बनाकर रखने में ही फायदा है।

इन उपायों से रोका जा सकता है किसी व्यक्ति को हत्यारा बनने से (Jyotish Tips)

ज्योतिष में जहां एक ओर हत्यारे की पहचान करने के लक्षण दिए गए हैं, वहीं ऐसी घटनाओं को रोकने का उपाय भी बताया गया है। यदि किसी व्यक्ति के हाथ में हत्यारा बनने के संकेत मिलते हैं तो उसे ग्रहों की शांति हेतु निम्न उपाय करने चाहिए।

  1. उसे अपने आपको भगवान शिव की शरण में अर्पित कर देना चाहिए। उसे नियमित रूप से एकाग्रचित्त होकर महामृत्युंजय मंत्र का जप करना चाहिए। ऐसा करने से भाग्य बदला जा सकता है।
  2. यदि संभव हो तो योग्य विद्वान पंडितों से गायत्री मंत्र का सवा लाख जप करवा लेना चाहिए। इस उपाय से न केवल हत्यारा बनने का योग खत्म होता है वरन व्यक्ति के जीवन पर आने वाले बाकी संकट भी दूर हो जाते हैं।
  3. ऐसे लोगों को प्रतिदिन घर के बड़े-बुजुर्गों तथा साधु-संतों का आशीर्वाद लेते रहना चाहिए। यदि संभव हो तो उन्हें धार्मिक कार्यों में जाकर धर्मार्थ कार्य भी करने चाहिए। इससे भी भाग्य के लिखे को मिटाया जा सकता है।
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